केंद्र सरकार ने देश के सेना और वायुसेना के जांबाज जवानों को दिए जाने वाले बहादुरी पुरस्कारों की सूची जारी की है। इन पुरस्कारों से उन सैनिकों को सम्मानित किया गया है जिन्होंने विभिन्न अभियानों, जिनमें हाल ही में पूरा हुआ ऑपरेशन सिंदूर भी शामिल है, में असाधारण साहस और नेतृत्व का प्रदर्शन किया। गौरतलब है कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने इससे पहले 127 बहादुरी पुरस्कार और 40 विशिष्ट सेवा पुरस्कारों को मंजूरी दी थी।
By: Arvind Mishra
Oct 22, 2025just now
नई दिल्ली। स्टार समाचार वेब
केंद्र सरकार ने देश के सेना और वायुसेना के जांबाज जवानों को दिए जाने वाले बहादुरी पुरस्कारों की सूची जारी की है। इन पुरस्कारों से उन सैनिकों को सम्मानित किया गया है जिन्होंने विभिन्न अभियानों, जिनमें हाल ही में पूरा हुआ ऑपरेशन सिंदूर भी शामिल है, में असाधारण साहस और नेतृत्व का प्रदर्शन किया। गौरतलब है कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने इससे पहले 127 बहादुरी पुरस्कार और 40 विशिष्ट सेवा पुरस्कारों को मंजूरी दी थी। इनमें शामिल हैं-4 कीर्ति चक्र, 15 वीर चक्र, 16 शौर्य चक्र, 2 बार टू सेना मेडल, 58 सेना मेडल, 6 नौसेना मेडल, 26 वायुसेना मेडल, 7 सर्वोत्तम युद्ध सेवा मेडल, 9 उत्तम युद्ध सेवा मेडल और 24 युद्ध सेवा मेडल। इसके अलावा, 290 मेंशन-इन-डिस्पैच भी दिए गए हैं, जिनमें 115 सेना, 5 नौसेना, 167 वायुसेना और 3 बॉर्डर रोड्स डेवलपमेंट बोर्ड के कर्मी शामिल हैं। वीर चक्र प्राप्त करने वालों में प्रमुख नामों में कर्नल कोशांक लांबा (302 मीडियम रेजिमेंट) शामिल हैं, जिन्हें एक विशेष उपकरण बैटरी की त्वरित हवाई तैनाती को सफलतापूर्वक संचालित करने के लिए वीर चक्र दिया गया है। लेफ्टिनेंट कर्नल सुषील बिष्ट को एक अभियान में आतंकवादी शिविरों को नष्ट करने में असाधारण नेतृत्व और साहस दिखाने पर वीर चक्र से सम्मानित किया गया।
वायुसेना के ग्रुप कैप्टन रंजीत सिंह सिद्धू को अपनी स्क्वाड्रन का नेतृत्व करते हुए दुश्मन के ठिकानों पर सटीक हमले के लिए वीर चक्र प्रदान किया गया। ग्रुप कैप्टन अनीमेश पत्नी को मिसाइल स्क्वाड्रन की कमान संभालते हुए दुश्मन को भारी नुकसान पहुंचाने और अपने संसाधनों की रक्षा करने पर वीर चक्र से नवाजा गया। स्क्वाड्रन लीडर रिजवान मलिक को दुश्मन के हवाई क्षेत्र में आधी रात को खतरनाक मिशन पूरा करने पर वीर चक्र दिया गया, जबकि स्क्वाड्रन लीडर सिद्धांत सिंह को तीन विमानों के दल में सटीक हमले का नेतृत्व करने पर वीर चक्र से सम्मानित किया गया।
सरकार द्वारा जारी गजट अधिसूचना में कहा गया है कि इन अधिकारियों ने अद्भुत पहल, नेतृत्व और युद्ध कौशल का प्रदर्शन किया है। यह भारत की सशस्त्र सेनाओं की राष्ट्रीय सुरक्षा और तत्परता के प्रति समर्पण को दर्शाता है।