भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) खड़गपुर और अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) भोपाल के बीच एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर हुए हैं।
By: Ajay Tiwari
भोपाल: स्टार समाचार वेब
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) खड़गपुर और अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) भोपाल के बीच एक महत्वपूर्ण समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर हुए हैं। इस समझौते के तहत दोनों संस्थान मिलकर छात्रों और मरीजों की मानसिक स्थिति को समझने के लिए शोध करेंगे। इसका उद्देश्य मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को बेहतर ढंग से समझना और उनके समाधान खोजना है।
मानसिक स्वास्थ्य पर फोकस
इस शोध में दिमाग के काम करने के तरीके, तनाव के पैटर्न और इसके प्रभावों का अध्ययन किया जाएगा। विशेषज्ञों के अनुसार, "दिमाग बंदर की तरह चंचल होता है और इसे नियंत्रित करना बेहद जरूरी है।" शोधकर्ता इस बात पर ध्यान केंद्रित करेंगे कि तनाव और मानसिक दबाव का व्यक्ति के व्यवहार और स्वास्थ्य पर क्या असर पड़ता है।
टेक्नोलॉजी और चिकित्सा का संगम
आईआईटी खड़गपुर अपनी तकनीकी विशेषज्ञता का उपयोग करेगा, जबकि एम्स भोपाल चिकित्सा और नैदानिक पहलुओं पर ध्यान केंद्रित करेगा। इस सहयोगात्मक प्रयास से मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में नई पद्धतियां और समाधान विकसित होने की उम्मीद है, जिससे छात्रों और मरीजों को बेहतर देखभाल मिल सकेगी। इस पहल से मानसिक रोगों का पता लगाने और उनके उपचार में भी मदद मिलेगी।
यह साझेदारी भारत में मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में एक मील का पत्थर साबित हो सकती है, जहाँ आज भी मानसिक बीमारियों को लेकर जागरूकता की कमी है।