HDFC AMC के शेयरों में 50% की भारी गिरावट बोनस इश्यू के कारण आई है। जानें क्या होता है 'बोनस इश्यू', यह कैसे शेयर की कीमत को प्रभावित करता है, और निवेशकों के लिए इसका क्या मतलब है।
By: Ajay Tiwari
Nov 26, 20253:40 PM
बिजनेस डेस्क. स्टार समाचार वेब
देश के सबसे बड़े बैंकिंग और फाइनेंशियल समूह, HDFC ग्रुप की सहायक कंपनी HDFC एसेट मैनेजमेंट कंपनी (HDFC AMC) के शेयरों में हाल ही में 50 प्रतिशत की भारी गिरावट दर्ज की गई है। यह गिरावट कंपनी द्वारा घोषित बोनस इश्यू के कारण आई है, जिसके तहत पात्र शेयरधारकों को 1:2 (एक के बदले दो) के अनुपात में स्टॉक दिए जा रहे हैं। इस घोषणा के प्रभाव स्वरूप, HDFC AMC के शेयर मंगलवार को ₹5,336.50 पर बंद हुए थे, और अगले दिन बुधवार को यह 50% कम होकर ₹2,682 पर खुले। यह प्राइस एडजस्टमेंट (भाव का घटना) स्टॉक की बढ़ी हुई संख्या को दर्शाता है।
बोनस इश्यू वह प्रक्रिया है जिसमें एक कंपनी अपने मौजूदा पात्र शेयरधारकों को उनके पास मौजूद प्रत्येक शेयर के बदले एक या एक से अधिक अतिरिक्त मुफ़्त शेयर देती है। हर कंपनी का बोनस इश्यू अनुपात अलग-अलग हो सकता है।
प्रभाव: बोनस इश्यू जारी होने के बाद, प्रति शेयर की कीमत कम हो जाती है। हालांकि, शेयरधारकों के पास शेयरों की कुल संख्या बढ़ जाती है।
लाभ: यह शेयरों को छोटे निवेशकों के लिए अधिक किफायती बनाता है, जिससे बाजार में शेयरों की खरीद-फरोख्त (Liquidity) में वृद्धि होती है।
HDFC AMC ने बोनस शेयर प्राप्त करने के लिए शेयरधारकों की पात्रता निर्धारित करने हेतु 26 नवंबर की तारीख को रिकॉर्ड डेट के रूप में तय किया था। इसका मतलब है कि जिन निवेशकों के पास इस तारीख तक कंपनी के शेयर थे, वे बोनस शेयरों के लिए पात्र होंगे।
बोनस इश्यू की घोषणा कंपनी ने इस साल 15 अक्टूबर को अपने दूसरी तिमाही (Q2) के नतीजे जारी करते समय की थी। कंपनी ने वित्तीय वर्ष 2026 की दूसरी तिमाही के लिए ₹718.43 करोड़ का शुद्ध लाभ (नेट प्रॉफिट) दर्ज किया। यह पिछले वर्ष की इसी अवधि में दर्ज किए गए ₹576.61 करोड़ के मुनाफे की तुलना में लगभग 25 प्रतिशत की सालाना (YoY) वृद्धि को दर्शाता है। कंपनी के बेहतर वित्तीय प्रदर्शन ने इस बोनस इश्यू के लिए आधार तैयार किया।
(अस्वीकरण/डिस्क्लेमर): यहाँ स्टॉक मार्केट और निवेश से जुड़ी जो जानकारी दी गई है, वह केवल सूचना के उद्देश्य से है, इसे निवेश की सलाह नहीं माना जाना चाहिए। शेयर बाजार में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन होता है। इसलिए, किसी भी तरह का निवेश करने से पहले, किसी प्रमाणित वित्तीय सलाहकार (Certified Investment Advisor) से परामर्श लेना आवश्यक है।