प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने घाना यात्रा के दौरान उपराष्ट्रपति प्रोफेसर नाना जेन ओपोकु-अग्येमांग से मुलाकात की। इस बैठक में भारत और घाना के बीच व्यापार, शिक्षा, स्वास्थ्य और रक्षा जैसे क्षेत्रों में द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाने पर चर्चा हुई। जानें इस ऐतिहासिक मुलाकात के मुख्य बिंदु
By: Star News
Jul 03, 20255 hours ago
अकरा (घाना) : स्टार समाचार वेब
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी बहुप्रतीक्षित घाना यात्रा के दौरान आज घाना की उपराष्ट्रपति प्रोफेसर नाना जेन ओपोकु-अग्येमांग से मुलाकात की। इस महत्वपूर्ण बैठक में दोनों नेताओं ने भारत और घाना के बीच द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर व्यापक चर्चा की।
प्रधानमंत्री मोदी, जो पिछले तीन दशकों में घाना का दौरा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री हैं, का अकरा पहुंचने पर घाना के राष्ट्रपति जॉन ड्रामनी महामा ने औपचारिक स्वागत किया था। इसके बाद उन्होंने उपराष्ट्रपति के साथ अलग से बैठक की, जो दोनों देशों के बीच मजबूत कूटनीतिक संबंधों को दर्शाता है।
व्यापक साझेदारी: प्रधानमंत्री मोदी और उपराष्ट्रपति ओपोकु-अग्येमांग ने दोनों देशों के बीच संबंधों को 'व्यापक साझेदारी' (Comprehensive Partnership) का रूप देने पर सहमति व्यक्त की। इसका उद्देश्य विभिन्न रणनीतिक क्षेत्रों में सहयोग को गहरा करना है।
क्षेत्रीय सहयोग: दोनों नेताओं ने आर्थिक, ऊर्जा, रक्षा सहयोग, कृषि और विकास सहयोग को बढ़ाने के तरीकों पर विशेष ध्यान दिया। घाना पश्चिमी अफ्रीका की तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है और भारत इसमें एक महत्वपूर्ण भागीदार बनने का इच्छुक है।
कौशल विकास और शिक्षा: भारत ने घाना में एक कौशल विकास केंद्र स्थापित करने का प्रस्ताव दिया है, जिससे घाना के युवाओं को व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण मिल सके। इसके अतिरिक्त, भारत ने ITEC (Indian Technical and Economic Cooperation) और ICCR (Indian Council for Cultural Relations) छात्रवृत्तियों की संख्या दोगुनी करने का भी निर्णय लिया है, जिससे घाना के छात्रों को भारत में उच्च शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा।
स्वास्थ्य और डिजिटल प्रौद्योगिकी: बैठक में स्वास्थ्य सेवा को वहनीय बनाने के लिए भारत की 'जन औषधि' पहल के अनुभव को घाना के साथ साझा करने पर भी चर्चा हुई। साथ ही, डिजिटल भुगतान प्रणालियों (UPI) और वैक्सीन उत्पादन में सहयोग बढ़ाने के प्रस्ताव भी दिए गए।
आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई: दोनों देशों ने आतंकवाद के खिलाफ मिलकर लड़ने का संकल्प भी लिया।
ग्लोबल साउथ का सशक्तिकरण: प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि अफ्रीकी संघ को G20 की स्थायी सदस्यता मिलना भारत के लिए गर्व की बात है, जो भारत की G20 अध्यक्षता में संभव हुआ। यह ग्लोबल साउथ को सशक्त करने की भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
यह बैठक भारत की 'अफ्रीका के लिए प्राथमिकता' नीति को रेखांकित करती है और घाना के साथ संबंधों को एक नई ऊंचाई पर ले जाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। प्रधानमंत्री मोदी की इस यात्रा से भारत और घाना के बीच व्यापार, निवेश और लोगों के बीच संबंधों में और वृद्धि होने की उम्मीद है।