पहलगाम , जम्मू-कश्मीर, पर्यटन क्षेत्र, धार्मिक मतभेद
By: Sandeep malviya
May 24, 20251 hour ago
नई दिल्ली। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बर्लिन में जर्मन काउंसिल आॅन फॉरेन रिलेशंस में बड़ा बयान दिया। जब उनसे कश्मीर में संघर्ष के अंतरराष्ट्रीय प्रभाव के बारे में पूछा गया तो विदेश मंत्री बोले कि भारत पाकिस्तान टकराव को कश्मीर में संघर्ष कहना गलत है। यह कश्मीर में संघर्ष नहीं था। यह एक आतंकी हमला था। विदेश मंत्री ने कहा कि पहलगाम हमले का उद्देश्य डर पैदा करना, जम्मू-कश्मीर के पर्यटन क्षेत्र को नष्ट करना और धार्मिक मतभेद पैदा करना था। भारत और पाकिस्तान के बीच टकराव को कश्मीर में संघर्ष कहना पहलगाम हमले के अपराधी और पीड़ित को एक ही स्तर पर रखने जैसा होगा। जयशंकर ने कहा कि पहलगाम आतंकी हमला एक पैटर्न का हिस्सा है, जिसने न केवल केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर को बल्कि भारत के अन्य हिस्सों को भी निशाना बनाया है। जब आप इसे संघर्ष के रूप में पेश करते हैं, तो आप वास्तव में अपराधी और पीड़ित को बिना किसी इरादे के एक ही स्तर पर रख देते हैं। विदेश मंत्री नीदरलैंड, डेनमार्क और जर्मनी की अपनी तीन देशों की यात्रा के तीसरे और अंतिम चरण में बर्लिन में हैं। उन्होंने कहा कि पहलगाम हमले के जवाब में भारत ने पाकिस्तान में आतंकी मुख्यालयों और केंद्रों को निशाना बनाया। उन्होंने कहा कि हम आतंकवाद का जवाब दे रहे थे। इसमें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर काफी समझदारी थी। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के बयान का हवाला देते हुए जयशंकर ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र ने कहा था कि जिन लोगों ने ऐसा किया है उन्हें न्याय के कटघरे में लाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि सात मई को हमने ठीक यही किया। हमने आतंकवादी मुख्यालयों और आतंकवादी केंद्रों को निशाना बनाया। हमारा अभियान आतंकवाद के खिलाफ है। इस मामले में आतंकी पड़ोसी देश में स्थित थे, क्योंकि पड़ोसी देश ने कई वर्षों से आतंकवाद को एक उपकरण के रूप में इस्तेमाल किया है।