ले जनरल राहुल आर सिंह ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर से कुछ सबक मिले हैं। नेतृत्व द्वारा दिया गया रणनीतिक संदेश स्पष्ट था। कुछ साल पहले की तरह दर्द को सहने की कोई गुंजाइश नहीं है।
By: Arvind Mishra
Jul 04, 20256 hours ago
नई दिल्ली। स्टार समाचार वेब
पाकिस्तान के खिलाफ भारत के ऑपरेशन सिंदूर की सफलता किसी से छिपी नहीं है। ऑपरेशन सिंदूर से हमें यकीनन बहुत सारे सबक सीखने को मिले हैं। जंग एक बॉर्डर पर हो रही थी, लेकिन विरोधी तीन थे। पाकिस्तान मोर्चे पर सामने था, लेकिन चीन उसे हरसंभव मदद दे रहा था। हालांकि, इसमें हैरानी की कोई बात नहीं है। पिछले पांच साल में पाकिस्तान जिन हथियारों का इस्तेमाल कर रहा है, उनमें से 81 फीसदी चीन के हैं। चीन अपने हथियारों को अन्य हथियारों के साथ परख रहा था। वह लाइव लैब की तरह अपने हथियारों को टेस्ट कर रहा था। तुर्की ने भी पाकिस्तान को सपोर्ट करने में अहम भूमिका निभाई। वह लगातार पाकिस्तान के साथ था। यह खुलासा शुक्रवार को भारतीय सेना के डिप्टी चीफ आफ आर्मी स्टाफ लेफ्टिनेंट जनरल राहुल आर सिंह ने एफआईसीसीआई के एक कार्यक्रम के दौरान किया। उन्होंने कहा कि साथ ही चीन ने पाकिस्तान को भारतीय हथियारों के बारे में जानकारी दी। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान तुर्की के ड्रोन और पायलट पाकिस्तान में मौजूद थे। डीजीएमओ वार्ता के दौरान चीन पाकिस्तान को जानकारी दे रहा था। हमने एक साथ तीन दुश्मनों को मात दी।
ले जनरल राहुल आर सिंह ने कहा कि आपरेशन सिंदूर से कुछ सबक मिले हैं। नेतृत्व द्वारा दिया गया रणनीतिक संदेश स्पष्ट था। कुछ साल पहले की तरह दर्द को सहने की कोई गुंजाइश नहीं है। लक्ष्यों की योजना और चयन बहुत सारे डेटा पर आधारित था जो प्रौद्योगिकी और मानव खुफिया जानकारी का उपयोग करके एकत्र किया गया था। इसलिए कुल 21 लक्ष्यों की पहचान की गई, जिनमें से नौ लक्ष्यों पर हमने सोचा कि उन्हें निशाना बनाना समझदारी होगी। यह केवल अंतिम दिन या अंतिम घंटा था जब निर्णय लिया गया कि इन नौ लक्ष्यों पर निशाना साधा जाएगा।
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान को चीन से लाइव इनपुट मिल रहे थे। हमें इस पर तेजी से काम करना होगा। जहां तक इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर की बात है। हमें हमारे एयर डिफेंस सिस्टम को और मबजूत करना होगा। हमारे पास इजरायल की तरह आयरन डोम नहीं है। उस तरह की लग्जरी हमारे पास नहीं है, क्योंकि हमारा देश बहुत बड़ा है और इन चीजों में बहुत पैसा लगता है। हमें भविष्य की तैयारी करनी होगी और भविष्य के लिए तैयार रहना होगा।
गौरतलब है कि 22 अप्रैल को हुए पहलगाम आतंकी अटैक के जवाब में भारतीय सेना ने 7 मई की रात को ऑपरेशन सिंदूर छेड़ा था। इसके तहत, भारतीय सेना ने पाकिस्तान और पीओके में 9 आतंकी ठिकानों को उड़ा दिया था। इससे बौखलाकर पाकिस्तानी सेना ने भारत के सैन्य और नागरिक ठिकानों को निशाना बनाने की कोशिश की थी, जिसे भारतीय सेना ने नाकाम कर दिया था। चार दिन तक चले सैन्य टकराव के बाद 10 मई को भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर हो गया था।