मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के ईंटखेड़ी में 14 से 17 नवंबर तक आयोजित 78वां आलमी तब्लीगी इज्तिमा इस बार 'जीरो वेस्ट' और क्यूआर कोड आधारित डिजिटल व्यवस्था के साथ तकनीक और पर्यावरण संरक्षण का संदेश देगा। 12 लाख से अधिक लोगों के आने की संभावना।
By: Ajay Tiwari
Nov 13, 20255:13 PM
धर्म डेस्क. स्टार समाचार वेब
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के ईंटखेड़ी स्थित घासीपुरा में 14 नवंबर, शुक्रवार से चार दिवसीय 78वां आलमी तब्लीगी इज्तिमा (Tablighi Jamaat) शुरू होने जा रहा है। दुनिया के सबसे बड़े मुस्लिम धार्मिक सम्मेलन के रूप में पहचाना जाने वाला यह आयोजन इस बार तकनीक और पर्यावरण संरक्षण की दिशा में एक नया कदम उठा रहा है।
आयोजन को सुगम और व्यवस्थित बनाने के लिए इज्तिमा में पहली बार क्यूआर कोड (QR Code) आधारित व्यवस्था लागू की गई है। इज्तिमा के प्रवक्ता उमर हफीज ने बताया कि 30 हजार से अधिक वालेंटियरों (जिसमें 5 हजार नगर निगम के और 25 हजार स्वयंसेवक शामिल हैं) को विशेष क्यूआर कोड वाले पहचान पत्र दिए गए हैं। इस कार्ड को स्कैन करते ही मोबाइल पर पूरे इज्तिमा परिसर का डिजिटल नक्शा खुल जाएगा। इस नक्शे में जमात के ठहरने का स्थान, चिकित्सा सुविधा, पानी, जरूरी सामान की उपलब्धता, और सफाई व सुरक्षा टीमों की तैनाती जैसी संपूर्ण जानकारी उपलब्ध होगी। यह तकनीक भीड़ प्रबंधन (Crowd Management) में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी और आपात स्थिति में मदद पहुंचाने में समय की बचत होगी।
पर्यावरण संरक्षण की दिशा में कदम उठाते हुए, इस बार का इज्तिमा 'जीरो वेस्ट' थीम पर आधारित है। प्रवक्ता उमर हफीज ने बताया कि प्लास्टिक और डिस्पोजेबल वस्तुओं पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। नगर निगम और ग्राम पंचायतों के सहयोग से पूरे आयोजन को 'ग्रीन एंड क्लीन इज्तिमा' बनाने की योजना है। कचरा प्रबंधन विशेषज्ञ सैयद इम्तियाज अली के अनुसार, कचरे को 180 मीट्रिक टन से घटाकर 120 मीट्रिक टन तक सीमित रखने का लक्ष्य है। इसके अलावा, वुजू (Wudu) में प्रतिदिन खर्च होने वाले 90 लाख लीटर पानी को कम करने के लिए ठोस कदम उठाए जा रहे हैं, जिसमें बायोमेडिकल वेस्ट और गंदे पानी का ट्रीटमेंट और रीसाइक्लिंग शामिल है।
चार दिवसीय यह धार्मिक समागम 14 नवंबर शुक्रवार को फजिर की नमाज के साथ आरंभ होगा और 17 नवंबर को सामूहिक दुआ के साथ संपन्न होगा। आयोजन समिति के अनुसार, दुआ के आखिरी दिन देश और विदेशों से व्यक्तिगत रूप से आने वाले करीब 12 लाख जमातियों के शामिल होने का अनुमान है। उमर हफीज ने स्पष्ट किया कि विदेश से कोई जमात नहीं आती, बल्कि व्यक्तिगत रूप से आने वाले लोगों का पुलिस वेरीफिकेशन अनिवार्य होता है।
इज्तिमा के कारण, 14 से 17 नवंबर तक भोपाल में यातायात दबाव अधिक रहेगा। सुबह 6 बजे से पुराने शहर और इज्तिमा स्थल (ईंटखेड़ी) की ओर आवागमन करने वाले मार्गों पर अत्यधिक भीड़ की संभावना है। आम जनता से वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करने का अनुरोध किया गया है।
एयरपोर्ट: भोपाल से एयरपोर्ट जाने वाले वाहन वीआईपी रोड, लालघाटी होकर आवागमन कर सकेंगे।
रेलवे स्टेशन (प्लेटफार्म-1): शहर से रेलवे स्टेशन जाने के लिए रोशनपुरा, लिंक रोड-दो, बोर्ड ऑफिस, चेतक ब्रिज से प्रभात चौराहा, 80 फीट रोड का उपयोग किया जा सकता है।
यात्री बसें (डायवर्सन):
सागर, जबलपुर, रायसेन आदि की ओर से आने वाली बसें 11 मील, मिसरोद होते हुए आईएसबीटी बस स्टैंड तक जा सकेंगी।
विदिशा से आने वाली बसें सूखी सेवानिया, चोपड़ा बायपास से भानपुर रोटरी पर समाप्त होंगी।
बैरसिया से आने वाली बसें मुबारकपुर बायपास से बैरागढ़ हलालपुर बस स्टैंड पर समाप्त होंगी।