चीन के रक्षा मंत्री डोंग जुन ने बीजिंग के शियांगशान सुरक्षा मंच पर ताइवान को लेकर सख्त बयान दिया। उन्होंने कहा कि ताइवान चीन का हिस्सा है और स्वतंत्रता की किसी भी कोशिश को नाकाम किया जाएगा। डोंग ने बाहरी हस्तक्षेप पर भी चेतावनी दी और अमेरिका पर अप्रत्यक्ष हमला भी बोला।
By: Sandeep malviya
Sep 18, 202510:15 PM
बीजिंग। चीन के रक्षा मंत्री डोंग जुन ने गुरुवार को बीजिंग में आयोजित शियांगशान सुरक्षा मंच का उद्घाटन करते हुए ताइवान को लेकर एक बार फिर कड़े बयान दिए। उन्होंने साफ कहा कि ताइवान का पुनर्स्थापन चीन का हिस्सा है और इसे लेकर किसी भी स्वतंत्रता की कोशिश को चीन कभी बर्दाश्त नहीं करेगा। इस बयान ने क्षेत्रीय तनाव को और बढ़ा दिया है। अंतरराष्ट्रीय सैन्य अधिकारियों की मौजूदगी में डोंग जुन ने कहा कि ताइवान पर चीन का दावा युद्धोत्तर अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था का हिस्सा है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि ताइवान स्वतंत्रता की ओर बढ़ा या बाहरी ताकतों ने हस्तक्षेप किया तो चीन सख्ती से जवाब देगा।
चीन का रुख
बीजिंग ताइवान को अपना अलग हुआ प्रांत मानता है। 1949 से यह द्वीप स्वतंत्र रूप से संचालित है और वहां 2.3 करोड़ लोग रहते हैं। चीन ताइवान पर सैन्य दबाव बनाए रखने के लिए लगभग रोजाना युद्धपोत और विमान भेजता है। चीन ने अभी तक ताइवान को अपने नियंत्रण में लाने के लिए बल प्रयोग से इनकार नहीं किया है।
ताइवान की प्रतिक्रिया
ताइवान के राष्ट्रपति लाई चिंग-ते और उनकी डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी बीजिंग के दावों को खारिज करते हैं। उनका कहना है कि ताइवान एक स्वतंत्र और संप्रभु देश है और उसका भविष्य वहां की जनता तय करेगी।
अमेरिका पर अप्रत्यक्ष हमला
डोंग जुन ने अपने भाषण में अमेरिका का नाम तो नहीं लिया, लेकिन ह्यबाहरी सैन्य हस्तक्षेप, प्रभाव क्षेत्र की खोज और देशों पर दबाव डालनेह्ण को अंतरराष्ट्रीय शांति के लिए खतरा बताया। उन्होंने कहा कि यह रवैया दुनिया को अराजकता और संघर्ष की ओर धकेल सकता है।