बंगलूरू में हुर्द भगदड़ के बाद विवादों में घिरे कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ के ए. शंकर और ईएस जयराम ने केएससीए के सचिव और कोषाध्यक्ष के रूप में अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है।
By: Star News
Jun 07, 202511:40 AM
बंगलूरू। आईपीएल-2025 के खिताब जीतने के बाद जश्न के दौरान एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर भगदड़ मचने से 11 लोगों की मौत के मामले में अब तक 4 लोग गिरफ्तार हुए हैं। हाई कोर्ट ने कर्नाटक क्रिकेट संघ के पदाधिकारियों को गिरफ्तारी से राहत दी है। इसके बाद केएससीए के सचिव और कोषाध्यक्ष ने एक संयुक्त बयान के माध्यम से अपने इस्तीफे की घोषणा की। दरअसल, बंगलूरू में हुर्द भगदड़ के बाद विवादों में घिरे कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ के ए. शंकर और ईएस जयराम ने केएससीए के सचिव और कोषाध्यक्ष के रूप में अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने आरसीबी के आईपीएल ट्रॉफी समारोह के दौरान मची भगदड़ की नैतिक जिम्मेदारी ली है। एक संयुक्त बयान में शंकर और जयराम ने कहा कि केएससीए अध्यक्ष को अपना इस्तीफा सौंप दिया है। पिछले दो दिनों में हुई अप्रत्याशित और दुर्भाग्यपूर्ण घटनाओं की वजह से हम यह बताना चाहते हैं कि हमने कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ के सचिव और कोषाध्यक्ष के रूप में अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है। हालांकि, हमारी भूमिका बहुत सीमित थी।
इससे पहले केएससीए अध्यक्ष रघुराम भट, सचिव शंकर और कोषाध्यक्ष जयराम ने कर्नाटक हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी कि गेट प्रबंधन और भीड़ प्रबंधन संघ की जिम्मेदारी नहीं थी। उन्होंने विधान सौधा में आरसीबी आईपीएल समारोह आयोजित करने की अनुमति मांगी थी। विधान सौध में सम्मान समारोह बिना किसी बड़ी गड़बड़ी के संपन्न हो गया, लेकिन एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर अनहोनी हो गई, जहां आरसीबी के सोशल मीडिया आमंत्रण के बाद लाखों लोग एकत्र हुए, जिसे बाद में हटा दिया गया। इस वजह से विजय परेड को रद्द करना पड़ा, लेकिन स्टेडियम के अंदर समारोह जारी रहा। बावजूद इसके कि बाहर इतना बड़ा हादसा हो गया।
केएससीए ने राज्य हाईकोर्ट में दलील दी है कि उसके पदाधिकारियों को किसी भी तरह की गलती के लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है। वे इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना के लिए किसी भी तरह से जिम्मेदार नहीं है। संस्था ने अपनी रिट याचिका में कहा-आईपीएल कार्यक्रम आरसीबी की ओर से अपने सेवा प्रदाता मेसर्स डीएनए नेटवर्क प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से आयोजित किए जाते हैं और केएससीए की भूमिका बहुत सीमित है। केएससीए आयोजन स्थल और बुनियादी ढांचे उसे सौंपता है। पुलिस ने बिना किसी प्रारंभिक जांच के अत्यधिक दबाव और मजबूर करने वाली परिस्थितियों में याचिकाकर्ता/केएससीए के सदस्यों को आरोपी बनाकर एफआईआर दर्ज की है।