रीवा जिले के सिरमौर में यूरिया खाद संकट गहराया। किसान 6 दिन से लाइन में लग रहे हैं, लेकिन खाद नहीं मिल रही। धान की फसल पीली पड़ने लगी, पुलिस और प्रशासन पर लापरवाही व अभद्रता के आरोप।
By: Yogesh Patel
Sep 04, 2025just now
हाइलाइट्स
सिरमौर, स्टार समाचार वेब
किसान की आय दुगुनी तो हुई नहीं, लेकिन यूरिया खाद के लिए लाइन में लगे-लगे सेहत आधी हो गई। यह खुद किसान अब कहने लगे हैं। वैसे तो यह स्थित पूरे प्रदेश में हैं। लेकिन रीवा जिले के सिरमौर में हालात बद से बदतर हो गये हैं। यहां किसान यूरिया के लिये 6 दिन से लाइन में खड़े हैं, लेकिन खाद नहीं मिल पा रही है। ऐसे में उनकी सेहत खराब हो रही है। लेकिन शासन प्रशासन इस अव्यवस्था को दूर करने का प्रयास नहीं कर रहा है।
राज्य सहकारी विपणन संघ शाखा सिरमौर उमरी में स्थित है। यहां की बात करें तो पूरे जिले के किसानों का खाद के लिए यहीं जमघट लगता है। लेकिन किसानों की भीड़ बयां करती है कि कई दिनों तक लाइन में लगने के बाद भी बिना खाद के लौट रहे हैं। सुबह 7 बजे उमरी केन्द्र के भ्रमण करने पर पता चला कि विपणन केन्द्र के गेट के अंदर 500 से भी ज्यादा किसानों की भीड़ जमा हो चुकी थी। पूंछने पर केन्द्र के बंद दरवाजे पर खड़े अमित मिश्रा, कमल नयन शुक्ला, कौशिल्या दुबे, प्रेमबती साकेत सहित सैकड़ों महिला एवं पुरुष किसानों का कहना था कि वे बीती रात 10 बजे से ही यहां आकर लाइन लगा लिए हैं। किसान सुधीर साकेत प्रमोद अग्निहोत्री व अन्य का कहना था कि वे निरंतर छ: दिनों से खाद के लिए चक्कर लगा रहे हैं लेकिन शाम को खाली हाथ लौट जाते हैं। कुल मिलाकर यहां शासन प्रशासन की बेरहम व्यवस्था के चलते अराजकता की स्थिति देखने को मिलती है।
पीली पड़ने लगी धान की फसल
खाद के बिना धान की फसल पीली पड़ने लगी है। किसानों का कहना है कि उन्हें मुनाफा तो दूर अब पूंजी डूबने का भी डर सताने लगा है। समय पर यूरिया खाद नहीं मिलने से फसल चौपट हो रही है। लेकिन शासन व प्रशासन को इसकी परहवाह नहीं है। किसानों का कहना है कि केंद्र व राज्य सरकार किसानों की आय दोगुनी करने का डंका पीट रहे हैं, लेकिन हकीकत इससे परे है।
पुलिस करती है अभद्रता
उमरी केंद्र में खाद के लिये किसानों की भीड़ जमा है। यहां स्वाभाविक है कि खाद नहीं मिलने से किसान परेशान हैं, ऐसे में वे शोर शराबा कर रहे हैं। लेकिन प्रशासन उनके दर्द को समझने की वजाय लाठी चार्ज करा रहा है। किसानों का कहना है कि यहां मौजूद पुलिस किसानों के साथ अभद्र व्यवहार कर रही है। इसके अलावा वितरण केंद्र के कर्मचारी व किसान भी मनमाना जबाव दे रहे हैं।