जम्मू-कश्मीर में तैयार हुआ 'चिनाब रेल ब्रिज' दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज है। यह पुल कश्मीर घाटी को देश के बाकी हिस्सों से सीधे रेल नेटवर्क से जोड़ेगा, जो दशकों पुरानी परियोजना में एक ऐतिहासिक मील का पत्थर है।
By: Star News
Jun 04, 20252:13 PM
जम्मू कश्मीर.
जम्मू-कश्मीर में विकास और कनेक्टिविटी के नए युग की शुरुआत होने वाली है. दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे आर्च ब्रिज, 'चिनाब रेल ब्रिज' घाटी को मिलने वाला है, जो कश्मीर घाटी को देश के बाकी हिस्सों से सीधे रेल नेटवर्क से जोड़ेगा, जो दशकों से लंबित एक महत्वपूर्ण परियोजना का मील का पत्थर है।
इंजीनियरिंग का बेजोड़ नमूना
रियासी जिले में चिनाब नदी पर बना यह पुल अपनी इंजीनियरिंग और भव्यता के लिए दुनिया में जाना जाएगा. चलिए बताते हैं ब्रिज के बारे में
ऊंचाई: यह पुल नदी के तल से 359 मीटर (लगभग 1,178 फीट) की हैरतअंगेज ऊंचाई पर स्थित है, जो इसे पेरिस के एफिल टावर से भी लगभग 35 मीटर ऊंचा बनाता है। कुतुब मीनार से यह पांच गुना अधिक ऊंचा है।
लंबाई: चिनाब ब्रिज की कुल लंबाई 1,315 मीटर (लगभग 4,314 फीट) है।
लागत: इस विशाल परियोजना पर लगभग 1,486 करोड़ रुपये की लागत आई है।
डिजाइन: यह एक भव्य आर्च ब्रिज है, जिसका निर्माण अत्यधिक चुनौतीपूर्ण भूभाग और कठिन मौसम परिस्थितियों के बीच किया गया है।
संरचना: इसमें 18.3 मीटर के 99 स्पैन और 72.5 मीटर का एक वर्टिकल लिफ्ट स्पैन शामिल है।
चिनाब रेल ब्रिज, उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेलवे लिंक (USBRL) परियोजना का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह परियोजना कश्मीर घाटी को भारतीय रेलवे नेटवर्क से जोड़ने का एक महत्वाकांक्षी लक्ष्य रखती है।
कनेक्टिविटी में सुधार: यह जम्मू को कश्मीर घाटी से सीधे जोड़ेगा, जिससे कटरा और श्रीनगर के बीच यात्रा का समय काफी कम हो जाएगा (अनुमानतः 3 घंटे तक)।
आर्थिक विकास: बेहतर कनेक्टिविटी से क्षेत्र में पर्यटन, व्यापार और उद्योगों को बढ़ावा मिलेगा, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को नई गति मिलेगी।
सामरिक महत्व: यह पुल भारतीय सेना के लिए भी सामरिक रूप से महत्वपूर्ण है, जिससे सीमावर्ती क्षेत्रों तक पहुंच और लॉजिस्टिक्स में सुधार होगा।
पर्यटन को बढ़ावा: कश्मीर घाटी में पर्यटन को नया आयाम मिलेगा, जिससे अधिक संख्या में पर्यटक आसानी से पहुंच सकेंगे।
राष्ट्रीय गौरव: यह पुल 'नए भारत' की इंजीनियरिंग क्षमता, दृढ़ संकल्प और दूरदर्शिता का एक गौरवशाली प्रतीक बन गया है।
चिनाब ब्रिज पर पहला सफल ट्रायल रन जून 2024 में पूरा कर लिया गया था। इसके बाद, जनवरी 2025 में वंदे भारत ट्रेन का भी सफल परीक्षण किया गया था, जो इस मार्ग पर हाई-स्पीड रेल सेवा की संभावनाओं को दर्शाता है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 6 जून को पुल का दौरा करेंगे, जिससे घाटी में रेल यात्रा का एक नया युग शुरू होगा। यह उद्घाटन 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले के बाद प्रधानमंत्री का पहला जम्मू-कश्मीर दौरा भी होगा, जो विकास के प्रति सरकार की अटूट प्रतिबद्धता का संदेश भी देता है।