ब्रिटिश सरकार ने फलस्तीन एक्शन ग्रुप पर प्रतिबंध लगाया है। लेकिन फलस्तीन समर्थक प्रदर्शनकारियों ने नए कानून का उल्लंघन किया, जिसके चलते पुलिस ने 365 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है।
By: Sandeep malviya
Aug 10, 202518 hours ago
लंदन। ब्रिटिश सरकार ने फलस्तीन एक्शन ग्रुप पर प्रतिबंध लगाया है। लेकिन फलस्तीन समर्थक प्रदर्शनकारियों ने नए कानून का उल्लंघन किया, जिसके चलते पुलिस ने 365 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। शनिवार दोपहर संसद के बाहर 500 से ज्यादा प्रदर्शनकारी चौक पर इकट्ठा हुए। प्रदर्शनकारियों ने मैं नरसंहार का विरोध करता हूं। मैं फलस्तीन एक्शन ग्रुप का समर्थन करता हूं, लिखे पोस्टर लहराए। मध्य लंदन में पुलिस ने फलस्तीन एक्शन ग्रुप के समर्थन पर प्रतिबंध लगाने वाले नए कानून का उल्लंघन करने के आरोप में 365 लोगों को गिरफ्तार किया है। जुलाई में संसद ने इस ग्रुप को गैरकानूनी घोषित किया था, तब से इसके समर्थकों ने पूरे ब्रिटेन में कई विरोध-प्रदर्शन किए हैं।
कार्यकतार्ओं के रॉयल एयर फोर्स बेस में घुसने और दो टैंकरों में तोड़फोड़ करने के बाद सांसदों ने इस ग्रुप को आतंकवादी संगठन घोषित कर दिया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि यह कानून अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को अनुचित रूप से प्रतिबंधित करता है।
संसद के बाहर इकट्ठा हुए 500 से ज्यादा प्रदर्शनकारी
संसद के बाहर 500 से ज्यादा प्रदर्शनकारी चौक पर इकट्ठा हुए। प्रदर्शनकारियों ने मैं नरसंहार का विरोध करता हूं। मैं फलस्तीन एक्शन ग्रुप का समर्थन करता हूं, लिखे पोस्टर लहराए। मेट्रोपॉलिटन पुलिस सर्विस ने सोशल मीडिया पर लिखा, अधिकारी लगातार भीड़ को घेरकर और गिरफ्तारियां कर रहे हैं।
प्रदर्शन खत्म होने के बाद आयोजकों और पुलिस के बीच हुई बहस
प्रदर्शन खत्म होने के बाद आयोजकों और पुलिस के बीच इस बात पर बहस हुई कि कितने लोग गिरफ्तार हुए। आयोजक कह रहे थे कि कम लोग पकड़े गए, ताकि दिखाया जा सके कि कानून बेकार है। पुलिस ने कहा कि जिसने भी फलस्तीन एक्शन के समर्थन में तख्ती पकड़ी थी, उसे गिरफ्तार कर लिया गया। प्रदर्शन का आयोजन करने वाली डिफेंड आवर ज्यूरीज ने कहा, 'पुलिस कथित तौर पर आतंकवाद के अपराध करने वालों में से केवल कुछ ही लोगों को गिरफ्तार कर पाई है, और उनमें से ज्यादातर को जमानत देकर घर जाने दिया गया है।'
आयोजकों के बयान पर पुलिस का पलटवार
आयोजकों के बयान पर लंदन की मेट्रोपॉलिटन पुलिस सेवा ने तुरंत पलटवार किया। पुलिस ने कहा कि यह सच नहीं है। चौक पर इकट्ठा हुए ज्यादातर लोग दर्शक, मीडियाकर्मी या ऐसे लोग थे, जिनके हाथ में समूह के समर्थन में तख्तियां नहीं थी। पुलिस ने कहा, 'हमें पूरा विश्वास है कि आज जो कोई भी पार्लियामेंट स्क्वायर पर फलस्तीन एक्शन के समर्थन में तख्तियां लेकर आया था, उसे या तो गिरफ्तार कर लिया गया है या गिरफ्तार करने की प्रक्रिया में है।' पुलिस ने कहा कि यह प्रदर्शन असामान्य था, क्योंकि प्रदर्शनकारी बड़ी संख्या में गिरफ्तार होना चाहते थे ताकि पुलिस और व्यापक आपराधिक न्याय प्रणाली पर दबाव डाला जा सके।
फलस्तीन एक्शन पर क्यों लगाया गया प्रतिबंध
फलस्तीन एक्शन पर प्रतिबंध लगाने का फैसला सरकार ने तब लिया, जब इसके कार्यकतार्ओं ने 20 जून को दक्षिणी इंग्लैंड में ब्रिटिश वायु सेना के वेस में घुसकर दो टैंकर विमानों के इंजनों पर लाल रंग डाल दिया और नुकसान पहुंचाया। उनका विरोध इस बात पर था कि ब्रिटेन, गाजा में हमास के खिलाफ इस्राइल की कार्रवाई का समर्थन कर रहा है। सरकार ने इस घटना के बाद इस समूह को आतंकवादी संगठन घोषित कर दिया।