कार्रवाई की व्यापक आलोचना हो रही है। सामाजिक कार्यकर्ताओं और पर्यावरणविदों ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला बताया है। कुछ का कहना है कि यह कार्रवाई खनन लॉबी के दबाव में की गई।
By: Star News
Jun 05, 202512:28 PM
-सिजिमाली खनन के विरोध में आयोजित रैली में भाग लेने वाली थीं
भोपाल/भुवनेश्वर। मध्यप्रदेश की जानी-मानी पर्यावरणविद एवं नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेत्री मेधा पाटकर को ओडिशा की रायगढ़ पुलिस ने हिरासत में ले लिया है। पुलिस ने उन्हें गुप्त जगह पर रखा है। यह घटना काशीपुर के बककर सुंगेर हाटपदा में आयोजित विश्व पर्यावरण दिवस के एक कार्यक्रम में भाग लेने जा रही थीं। इस कार्यक्रम का उद्देश्य सिजिमाली खनन परियोजना के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करना था। पुलिस ने उन्हें रेलवे स्टेशन से हिरासत में लिया और एक सुनसान स्थान पर ले जाकर कार्यक्रम में शामिल होने से रोक दिया।
पुलिस की हो रही अलोचना
इधर, रायगड़ा पुलिस ने दावा किया कि मेधा पाटकर को हिरासत में लेना क्षेत्र में कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए जरूरी था। जबकि इस कार्रवाई की व्यापक आलोचना हो रही है। सामाजिक कार्यकर्ताओं और पर्यावरणविदों ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला बताया है। कुछ का कहना है कि यह कार्रवाई खनन लॉबी के दबाव में की गई। जो इस क्षेत्र में बिना किसी विरोध के परियोजनाओं को आगे बढ़ाना चाहती है।
एक नजर में पूरा मामला
दरअसल, मेधा पाटकर पर्यावरण संरक्षण और सामाजिक न्याय के लिए जानी जाती हैं। काशीपुर में सिजिमाली खनन परियोजना के खिलाफ स्थानीय समुदाय के साथ एकजुटता दिखाने आई थीं। यह खनन परियोजना लंबे समय से विवादों में है। क्योंकि स्थानीय लोग इसे पर्यावरण और उनकी आजीविका के लिए खतरा मानते हैं। मेधा पाटकर का इस कार्यक्रम में शामिल होना स्थानी प्रकृतिक सम्पदाओं के संरक्षण के लिए एक अहम कदम माना जा रहा था, लेकिल पुलिस ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए उन्हें हिरासत में लिया।
मेधा पाटकर का योगदान
मेधा पाटकर नर्मदा बचाओ आंदोलन की संस्थापक हैं। उन्होंने नर्मदा नदी पर बांधों के निर्माण के खिलाफ दशकों तक संघर्ष किया है। उनकी सक्रियता ने पर्यावरण संरक्षण और विस्थापित समुदायों के अधिकारों के लिए राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ध्यान आकर्षित किया है। हाल ही में, वह केरल के वायनाड में भूस्खलन प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर चुकी हैं, जहां उन्होंने पर्यावरणीय आपदाओं के प्रति जागरूकता बढ़ाने का काम किया है।