भारतीय सेना ने 5 साल बाद जवानों के लिए सोशल मीडिया ऐप्स पर लगा प्रतिबंध हटा दिया है। नई गाइडलाइंस के तहत जवान इंस्टाग्राम रील देख सकेंगे और वॉट्सएप का इस्तेमाल कर सकेंगे। जानें क्या हैं शर्तें।
By: Ajay Tiwari
Dec 25, 20256:32 PM
नई दिल्ली | स्टार समाचार वेब
भारतीय सेना के जवानों और अधिकारियों के लिए एक बड़ी राहत भरी खबर सामने आई है। वर्ष 2020 में सुरक्षा कारणों और संवेदनशील सूचनाओं के लीक होने के खतरे के चलते लगाए गए प्रतिबंध को अब कुछ शर्तों के साथ हटा लिया गया है। न्यूज एजेंसी ANI के अनुसार, सेना ने नई गाइडलाइंस जारी की हैं, जिसके तहत अब सैन्यकर्मी लगभग 5 साल के अंतराल के बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स का इस्तेमाल कर सकेंगे।
नई नियमावली के अनुसार, जवान अब इंस्टाग्राम (Instagram) पर फोटो, वीडियो और रील्स देख सकेंगे, लेकिन उन्हें किसी भी पोस्ट पर कमेंट करने की अनुमति नहीं होगी। वॉट्सएप (WhatsApp) और टेलीग्राम (Telegram) जैसे मैसेजिंग ऐप्स का उपयोग केवल गैर-गोपनीय और व्यक्तिगत जानकारियों को साझा करने के लिए किया जा सकेगा। इसके अलावा, यूट्यूब (YouTube) और X (पूर्व में ट्विटर) का उपयोग केवल सूचना प्राप्त करने के उद्देश्य से किया जा सकेगा। सेना ने लिंक्डइन, स्काइप और सिग्नल जैसे प्रोफेशनल और संचार ऐप्स के लिए भी विशिष्ट दिशा-निर्देश जारी किए हैं।
उल्लेखनीय है कि साल 2020 में सरकार ने सुरक्षा की दृष्टि से बेहद कड़ा कदम उठाते हुए जवानों और अधिकारियों को अपने फोन से फेसबुक, इंस्टाग्राम, टिकटॉक और पबजी जैसे 89 ऐप्स हटाने का आदेश दिया था। उस समय डिजिटल प्लेटफॉर्म्स के जरिए 'हनीट्रैप' और साइबर जासूसी के मामले तेजी से बढ़े थे। पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई (ISI) और चीन जैसे पड़ोसी देशों द्वारा सोशल मीडिया के माध्यम से संवेदनशील सैन्य सूचनाएं जुटाने की कोशिशों के बाद यह पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया था।
सेना का प्राथमिक उद्देश्य हमेशा से सूचनाओं की गोपनीयता बनाए रखना रहा है। 2024 में आधिकारिक कामकाज के लिए वॉट्सएप के इस्तेमाल पर भी रोक लगाई गई थी। हालांकि, बदलते डिजिटल परिवेश और जवानों के मानसिक कल्याण को ध्यान में रखते हुए, अब कड़े नियंत्रण के साथ इन ऐप्स की वापसी की गई है। नई गाइडलाइंस यह सुनिश्चित करती हैं कि जवान बाहरी दुनिया और मनोरंजन से जुड़े रहें, लेकिन राष्ट्रीय सुरक्षा के साथ कोई समझौता न हो। सेना ने स्पष्ट किया है कि यदि नियमों का उल्लंघन पाया जाता है या किसी भी प्रकार की संदिग्ध गतिविधि सामने आती है, तो सख्त अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।