उमा भारती ने भाजपा पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि उनके भतीजे राहुल लोधी को टिकट देना कोई एहसान नहीं, बल्कि पार्टी की मजबूरी थी। परिवार के बलिदानों और राजनीतिक दबावों का जिक्र करते हुए उन्होंने ट्वीट में अपनी यात्रा शेयर की।
By: Arvind Mishra
भोपाल। स्टार समाचार वेब
उमा भारती ने भाजपा पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि उनके भतीजे राहुल लोधी को टिकट देना कोई एहसान नहीं, बल्कि पार्टी की मजबूरी थी। परिवार के बलिदानों और राजनीतिक दबावों का जिक्र करते हुए उन्होंने ट्वीट में अपनी यात्रा शेयर की। दरअसल, मध्य प्रदेश की पूर्व सीएम उमा भारती ने एक बार फिर अपनी ही पार्टी को कटघरे में खड़ा कर दिया है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर किए गए एक भावुक पोस्ट में उन्होंने भाजपा द्वारा उनके भतीजे राहुल लोधी को टिकट देने को पार्टी की मजबूरी बताया और कहा कि यह उनके परिवार पर कोई एहसान नहीं था। उमा भारती के इस बयान ने एक बार फिर पार्टी के भीतर चल रही अंतर्कलह और वरिष्ठ नेताओं की नाराजगी को उजागर कर दिया है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह पोस्ट पार्टी के लिए असहज स्थिति पैदा कर सकती है, खासकर जब मध्य प्रदेश जैसे महत्वपूर्ण राज्य में संगठनात्मक एकता की जरूरी है।
उमा भारती ने पोस्ट में लिखा-मेरे एक भाई के बेटे राहुल को टिकट देना परिवार पर कोई एहसान नहीं था, पार्टी की मजबूरी थी। मेरे परिवार ने मेरी राजनीति के कारण बहुत कष्ट उठाए हैं। चाहे सरकार कांग्रेस की रही हो या भाजपा की, उन पर झूठे आरोप लगे लूट, डकैती जैसे और वे हर बार कोर्ट से निर्दोष साबित हुए।
उमा भारती ने पोस्ट कर कहा-मेरे कारण परिवार ने सहा अत्याचार। उमा भारती का यह पोस्ट न सिर्फ पार्टी नेतृत्व पर सवाल खड़ा करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि वह लंबे समय से अपने परिवार के साथ हुए व्यवहार को लेकर आहत हैं। उन्होंने लिखा कि भाजपा अगर उन्हें चुनाव नहीं लड़ाती, तो उनके परिवार के सदस्य पहले ही सांसद या विधायक बन चुके होते।
उमा ने यह भी स्पष्ट किया कि उनका परिवार जनसंघ के समय से भाजपा से जुड़ा रहा है। उन्होंने लिखा-राहुल और सिद्धार्थ राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के बाल स्वयंसेवक रहे हैं। उस समय जब मैं खुद राजनीति से कोसों दूर थी। मेरा परिवार हमेशा विचारधारा से जुड़ा रहा है, न कि सत्ता की लालसा से।