किडनी फेलियर के शुरुआती लक्षण अक्सर इतने सामान्य होते हैं कि लोग उन्हें थकान या उम्र से जुड़ी परेशानी समझकर अनदेखा कर देते हैं। जब किडनी ठीक से काम करना बंद कर देती है, तो इसके सबसे स्पष्ट संकेत आपके पैरों, टखनों और निचले अंगों में दिखने लगते हैं, जिसके साथ दर्द और भारीपन भी महसूस हो सकता है।
By: Manohar pal
Nov 10, 20256:02 PM
किडनी फेलियर के शुरुआती लक्षण अक्सर इतने सामान्य होते हैं कि लोग उन्हें थकान या उम्र से जुड़ी परेशानी समझकर अनदेखा कर देते हैं। जब किडनी ठीक से काम करना बंद कर देती है, तो इसके सबसे स्पष्ट संकेत आपके पैरों, टखनों और निचले अंगों में दिखने लगते हैं, जिसके साथ दर्द और भारीपन भी महसूस हो सकता है।
किडनी फेलियर का एक प्रमुख कारण यह है कि वह शरीर से अतिरिक्त तरल पदार्थ और सोडियम को बाहर नहीं निकाल पाती। यह अतिरिक्त तरल पदार्थ गुरुत्वाकर्षण के कारण शरीर के निचले हिस्सों में जमा होने लगता है, जिससे पैरों और टखनों में सूजन आ जाती है। यह सूजन न केवल दर्द और भारीपन का एहसास कराती है, बल्कि यह इस बात का भी संकेत देती है कि शरीर में जहरीले टॉक्सिन्स जमा हो रहे हैं। इसके अलावा भी शरीर आपको कई संकेत देता है, आइए इस लेख में उन्हीं संकेतों के बारे में विस्तार से जानते हैं।
पैरों में सूजन
किडनी डैमेज होने पर पैरों में सबसे पहले सूजन दिखाई देती है, खासकर टखनों और पंजों के आस-पास। यह सूजन तब गंभीर मानी जाती है जब आप सूजी हुई त्वचा पर उंगली से दबाव डालते हैं और वहां एक गड्ढा बन जाता है जो देर से भरता है। यह स्थिति वाटर रिटेंशन का प्रमाण है, जो बताता है कि किडनी अतिरिक्त पानी और नमक को शरीर से बाहर निकालने में विफल हो रही है।
रात में ऐंठन और मांसपेशियों में मरोड़
किडनी का एक महत्वपूर्ण काम रक्त में इलेक्ट्रोलाइट्स (जैसे कैल्शियम, पोटैशियम और मैग्नीशियम) का संतुलन बनाए रखना है। जब किडनी खराब होती है, तो यह इलेक्ट्रोलाइट संतुलन बिगड़ जाता है। इस असंतुलन के कारण आपको अक्सर रात में सोते समय पिंडलियों या पैरों की मांसपेशियों में दर्दनाक ऐंठन या मरोड़ महसूस हो सकती है। यह असंतुलन नसों और मांसपेशियों के कार्यों को बाधित करता है।
सुन्नपन, झुनझुनी और खुजली की समस्या
किडनी की गंभीर समस्या तंत्रिका तंत्र को भी प्रभावित कर सकती है, जिसे यूरेमिक न्यूरोपैथी कहते हैं। इसके कारण आपको पैरों के निचले हिस्से में झुनझुनी, सुन्नपन या चुभन जैसा एहसास हो सकता है। इसके अलावा, शरीर में विषाक्त पदार्थों के जमा होने के कारण पैरों और टांगों में बिना किसी चकत्ते के भयंकर खुजली हो सकती है।
बचाव और तत्काल चिकित्सा की आवश्यकता
पैर में दर्द या सूजन के साथ यदि आपको लगातार थकान, सांस फूलना या पेशाब की आदतों में बदलाव (जैसे रात में बार-बार पेशाब आना) महसूस हो, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। हाई बीपी और डायबिटीज को नियंत्रित रखना किडनी की सुरक्षा की पहली सीढ़ी है। समय पर जांच और इलाज से किडनी फेलियर के जोखिम को कम किया जा सकता है।